यमुना हुई खतरे के निशान के ऊपर, दिल्ली के निचले इलाकों में आफत
दिल्ली में सभी को जीवन देने वाली यमुना अब जाने लेने पर उतारू है। रविवार शाम को हथनी कुंड बैराज से छोड़े गए 8.28 लाख क्यूसेक पानी ने यमुना का रूप बदल दिया है। दिल्ली में यमुना खतरे के निशान से तकरीबन 1 मीटर ऊपर बह रही है। गौरतलब है कि बीते रविवार खतरे के निशान को 204.83 मीटर से बढाकर 205.33 मीटर तय किया गया था। मंगलवार सुबह यमुना का जलस्तर 205.94 दर्ज किया गया।
यमुना में जलस्तर बढ़ने से दिल्ली के यमुना बहाव क्षेत्र में आने वाले निचले इलाकों में पानी भर गया है। राजधानी के यमुना बाजार इलाके में लोगों के घरों और दुकानों में पानी भर जाने की वजह से लोगों ने पलायन शुरू कर दिया है। प्रशासन ने सभी निचले इलाकों को तेजी से खाली करवाना शुरू कर दिया है। यमुना का जलस्तर बढ़ने के साथ ही निगमबोध घाट में भी जलभराव हो गया है। गौरतलब है कि सोमवार को यमुना के बढ़ते जलस्तर को देखते हुए मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने आपात बैठक भी बुलाई थी और इस दौरान अधिकारियों को हर तरह की स्थिति से निपटने के लिए निर्देश दिए थे। दिल्ली सरकार ने प्रशासन और रेस्क्यू टीम को हाई अलर्ट पर रखा है। वहीं इलाके के पुराने लोहा पुल पर सोमवार को ही यातायात बंद कर दिया गया था।
आपातकाल के लिए यमुना के निचले इलाको में 2120 राहत कैम्प बनाए हैं। यमुना के निचले इलाके से 23860 लोगों को बाहर निकाला जा रहा है। दिल्ली मुख्यमंत्री ने सभी से निवेदन किया है कि सभी अपने बच्चों का ख्याल रखें और उन्हें पानी में जाने से रोकें। आपातकाल की इस स्थिति के लिए दिल्ली सरकार ने दो हेल्पलाइन नंबर 21210849 और 22421646 जारी किए हैं। सरकार ने कहा है कि अगले 2 दिन पूर्वी दिल्ली के लिए मुश्किल हो सकते हैं। आपको बता दें इससे पहले रविवार को यमुना का जलस्तर 203.20 से बढ़कर 203.50 तक बढ़ गया था। इसके साथ ही यमुना में खतरे का निशान भी बदल दिया गया था।