नवरात्रि : अष्टमी और नवमी को पूजें कंचक, जाने शुभ मुहूर्त
न्यूज नशा डेस्क। नवरात्रि के अवसर पर कन्या पूजन की परंपरा अलग जगहों पर अलग रीति-रिवाज हैं। लेकिन कंचक अर्थात् कन्या पूजन कहीं अष्ठमी के दिन तो कहीं पर नवनी के दिन लोग करते हैं। नवरात्रि के सात उपवास मंगलवार को हो चुके हैं। नवरात्रि का आज बुधवार को अष्टम अर्थात् आठवां उपवास है। ऐसे में आप आज अर्थात् अष्टमी को और चल यानी नवमी को, दोनों में से किसी भी दिन कंचक अर्थात् कन्या पूजन कर सकती / सकते हैं।
बता दें कि शुभ कार्य शुभ मुहूर्त में करने से ही वे शुभ फलदायी और मनोकामना पूर्ण करने वाले होते हैं।
ज्योतिष के अनुसार दोनों ही दिन कन्या पूजन के लिए खास मुहूर्त है। जो लोग अष्टमी को कन्या पूजा करना चाहती / चाहते हैं, वे अष्टमी तिथि 29 मार्च को सुबह 7:00 बजे से दोपहर 12:12 मिनट तक कन्या पूजन करें, क्योंकि यह अष्टमी वाले दिन का सबसे अच्छा मुहूर्त है। हालांकि जिनके पास इस समय तक कोई समस्या हो, वे बाद में भी कन्या पूजन कर सकते हैं, क्योंकि अष्टमी तिथि 29 मार्च को रात 9:07 बजे तक रहेगी।
वहीं जो उपवासधकरी नवमी को कन्या पूजन करना चाहें, वे 30 मार्च को सुबह 6:00 बजे से लेकर रात्रि 11: 30 बजे तक कन्या पूजन कर सकती / सकते हैं। हालांकि कन्या पूजन का सबसे अच्छा दिन नवमी यानी गुरुवार ही है।
विशेष थ्यान रहे कि पूजन उन्हीं कन्याओं का करना चाहिए, जो रजस्वला न हों अर्थात् जिनकी आयु 9-10 वर्ष से कम हो।