विकास दुबे की 2017 की वीडियो हुई वायरल, STF की पूछताछ में विकास दुबे ने लिए थे 2 बीजेपी MLA के नाम
कानपुर गोलीकांड में विकास दुबे को गिरफ्तार करने गई पुलिस पर विकास दुबे ने हमला कर दिया था और 8 पुलिसकर्मियों को शहीद कर दिया था। जिसके बाद से ही गैंगस्टर विकास दुबे को ढूंढने के लिए पुलिस पूरी कोशिश कर रही है। हालांकि इस मामले में अब कई बड़े खुलासे होते जा रहे हैं। जहां हत्या जैसे कई केसों के बाद भी विकास दुबे जिले के टॉप 10 आरोपियों में भी नहीं शामिल था। वहीं अब जांच में पता चल रहा है कि विकास दुबे को कुछ पुलिसकर्मियों ने पहले ही इस बात की जानकारी दे दी थी कि पुलिस उन्हें गिरफ्तार करने आ रही है। ऐसे में विकास दुबे का 2017 का एसटीएफ जांच का वीडियो सामने आने के बाद और हड़कंप मच गया है। वीडियो में विकास दुबे दो बीजेपी विधायको भगवती प्रसाद सागर और अभिजीत सिंह सांगा का नाम ले रहे हैं। जो वीडियो इस समय बहुत चर्चित भी है।
बता दें कि जिला पंचायत चुनाव के दौरान विकास दुबे पर एक शख्स की हत्या का आरोप लगा था। उसके खिलाफ हत्या का षडयंत्र रचने का आरोप था। इस मामले में एसटीएफ ने उससे पूछताछ की थी। जिसके जवाब सुनकर सभी हैरान रह गए हैं।
बता दें कि उनसे पूछा गया था कि यह थाने में जो तुम्हारी एफिडेविट पढ़ रही है तो उसके लिए क्या तुमने किसी पर कोई दबाव बनाया था? इसका जवाब देते हुए उन्होंने बताया तब आप जैसा नहीं लेकिन प्रयास किया था, अपने लोकल नेता हमारे यहां के प्रबुद्ध लोग हैं उनसे किया था।
उनसे सवाल पूछा गया किए कौन-कौन हैं? विकास दुबे ने जवाब दिया हमारे लोकल विधायक हैं, भगवती प्रसाद सागर जी हैं और अभिजीत सिंह सागर जी हैं एमएलए और ब्लॉक प्रमुख। राजेश कमल जी और जिला पंचायत अध्यक्ष हैं और 3-4-5 प्रधान लोग भी हैं। वही जब उनसे सवाल पूछा गया तो इन लोगों ने क्या डराया धमकाया? विकास दुबे ने कहा कि डराया धमकाया नहीं इन लोगों ने समझाया था कि देखो अगर यह नहीं है और यह फर्जी है तो इनकी मदद करो। अगर मुलजिम है तो कोई बात नहीं लेकिन यह फर्जी है इसलिए इनके लिए जो हिसाब करना था उनको वह किया।
विकास दुबे से पूछा गया कि तुम्हारी पत्नी ने तो नहीं डराया धमकाया इन लोगों को? तो विकास दुबे ने कहा पत्नी मेरी कहीं जाती ही नहीं है। वह खाली जिला पंचायत की बैठक होती है बस उसी में जाती है। विकास दुबे से पूछा गया इन लोगों से को माननीय लोग है उनसे तुम्हारी बात होती है? उन्होंने कहा जी हां टेलिफोनिक भी होती है और आने जाने से मुलाकात भी होती है। फिर विकास दुबे से पूछा गया कि हमसे बात हुई थी कि ऐसे ऐसे कराइए? तो इसका जवाब देते हुए विकास दुबे ने कहा कि पहले तो हमारे लोकल लोगों ने कहा यहां गांव के लोगों ने इसके बाद फिर हमने भी प्रयास किया कि यह बात है तो फिर इन लोगों ने मदद भी की। अगर गलत इनका नाम इस में आया तो तरीके से निकाली जाए गलतफहमी।
फिर विकास दुबे से पूछा गया यह कैसे पता लगा आपको कि आपका नाम गलत आया है? विकास दुबे ने कहा यह साहब पूरी जनता जानती है मैं स्वयं जानता हूं कि जिस समय यह हत्या हुई उस समय मेरा नाम तीसरी तहरीर में षड्यंत्र में बढ़ाया गया था। फिर विकास दुबे से पूछा गया किसकी हत्या हुई थी? उन्होंने जवाब दिया एक कुशवाहा जी हैं उनके भाई की हत्या हुई थी नाम तो उनका मालूम है जो वादी है। फिर विकास दुबे से पूछा गया हत्या किस तरह हुई थी? विकास दुबे ने कहा हत्या को आपस में प्रधान चुनाव की रंजिश में हुई थी। प्रधानी के चुनाव की रंजिश में हुई थी। खेत में गेहूं भरने गए थे एक पक्ष दूसरे पक्ष में गोली चली। ।
फिर विकास दुबे से एसटीएफ ने सवाल किया उसी में मौत हुई थी? उसने कहा हां उसी में मौत हुई थी दूसरे पक्ष के 2 लोग घायल हो गए थे और एक पक्ष में एक की मौत हो गई थी। फिर पूछा गया कि उसने तुम्हारा भी नाम आया था ? विकास दुबे बोला हां हमारा षड्यंत्र रचने में नाम आया था 120b में।