प्यार में धोखा या डिप्रेशन? IIT बाबा की अनोखी कहानी

IIT मसानी गोरख बाबा के आध्यात्मिक जीवन अपनाने के पीछे कई तरह की अटकलें लगाई जा रही हैं। सोशल मीडिया पर लोग अलग-अलग दावे कर रहे हैं.

हरियाणा के झज्जर जिले से ताल्लुक रखने वाले अभय सिंह, जिन्हें आज ‘मसानी गोरख बाबा’ के नाम से जाना जाता है, एक अनोखी शख्सियत हैं। प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ मेले में उनकी उपस्थिति चर्चा का विषय बनी हुई है। लाखों श्रद्धालु और पर्यटकों के बीच उनकी कहानी लोगों का ध्यान खींच रही है। खास बात यह है कि अभय सिंह ने देश के प्रतिष्ठित संस्थान IIT बॉम्बे से एयरोस्पेस इंजीनियरिंग की डिग्री हासिल की थी और एक उज्ज्वल भविष्य छोड़कर उन्होंने आध्यात्मिक जीवन की ओर कदम बढ़ाया।

प्यार में धोखा या डिप्रेशन: सोशल मीडिया पर चर्चाएं

IIT मसानी गोरख बाबा के आध्यात्मिक जीवन अपनाने के पीछे कई तरह की अटकलें लगाई जा रही हैं। सोशल मीडिया पर लोग अलग-अलग दावे कर रहे हैं कि उन्होंने प्यार में धोखा मिलने, बेरोजगारी या डिप्रेशन के कारण यह रास्ता चुना। हालांकि, खुद मसानी गोरख बाबा ने इन बातों को सिरे से खारिज कर दिया और कहा कि उनका आध्यात्म की ओर झुकाव आत्मज्ञान और जीवन के गहरे अर्थ की खोज के लिए है।

जीवन का अर्थ खोजने के लिए किया गहन अध्ययन

IIT मसानी गोरख बाबा का मानना है कि जीवन का असली अर्थ सिर्फ भौतिक सुख-सुविधाओं में नहीं है। उन्होंने दर्शन शास्त्र, सुकरात, प्लेटो और कई अन्य महान दार्शनिकों के कार्यों का गहन अध्ययन किया। न्यूज 18 को दिए एक इंटरव्यू में उन्होंने कहा, “जब मैंने गहराई से अध्ययन किया, तब मुझे समझ में आया कि असली ज्ञान क्या है। यदि आपको मन और मानसिक स्वास्थ्य को समझना है, तो आप इसे आध्यात्मिकता के माध्यम से ही प्राप्त कर सकते हैं।”

IIT से आध्यात्म की ओर यात्रा

अभय सिंह का IIT से आध्यात्म की ओर यात्रा करना युवाओं के लिए प्रेरणादायक है। उन्होंने अपनी पढ़ाई पूरी करने के बाद कई कंपनियों में अच्छे पदों पर काम करने के अवसरों को ठुकरा दिया। उनके मुताबिक, उनका उद्देश्य हमेशा से अपने जीवन के गहरे अर्थ को खोजना था। तकनीकी ज्ञान के बाद उन्होंने आध्यात्मिक ज्ञान की ओर रुख किया और आज ‘मसानी गोरख बाबा’ के नाम से प्रसिद्ध हैं।

मानवता की सेवा को बनाया उद्देश्य

IIT मसानी गोरख बाबा का कहना है कि अब उनका एक ही उद्देश्य है—मानवता की सेवा करना और लोगों को आध्यात्मिक ज्ञान के माध्यम से मानसिक शांति प्रदान करना। बाबा मानते हैं कि भौतिक सुख केवल क्षणिक होते हैं और असली सुख आध्यात्मिक ज्ञान से मिलता है। उनके अनुसार, “यदि लोग अपने मन को समझना चाहते हैं, तो उन्हें आध्यात्मिकता के मार्ग पर चलना होगा। यही जीवन की सच्ची राह है।”

महाकुंभ में बनी आकर्षण का केंद्र

प्रयागराज के महाकुंभ मेले में मसानी गोरख बाबा का दर्शन पाने के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु उमड़ रहे हैं। उनकी अनोखी जीवन कहानी और आईआईटी से बाबा बनने की यात्रा ने उन्हें महाकुंभ का एक प्रमुख आकर्षण बना दिया है। लोग उनसे आध्यात्मिक मार्गदर्शन ले रहे हैं और उनकी बातों को बड़े ध्यान से सुन रहे हैं।

IIT मसानी गोरख बाबा

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IIT मसानी गोरख बाबा की कहानी इस बात का जीता-जागता उदाहरण है कि ज्ञान केवल भौतिक क्षेत्र तक सीमित नहीं होता, बल्कि आत्मज्ञान से भी जुड़ा होता है। उनकी यात्रा हमें यह सिखाती है कि जीवन का असली उद्देश्य केवल सफलता और दौलत कमाना नहीं, बल्कि अपने अस्तित्व का गहराई से अध्ययन करना और आत्मिक शांति प्राप्त करना है।

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