MP में दर्दनाक हादसा , आग में राख हुए
MP के दमोह जिले से एक हृदयविदारक घटना सामने आई है। इस हादसे में तीन मासूम बच्चियां झोपड़ी में लगी आग की चपेट में आ गईं।
MP के दमोह जिले से एक हृदयविदारक घटना सामने आई है। इस हादसे में तीन मासूम बच्चियां झोपड़ी में लगी आग की चपेट में आ गईं। इस दुखद घटना में दो बच्चियों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि तीसरी बच्ची गंभीर हालत में अस्पताल में जिंदगी और मौत के बीच जूझ रही है।
कैसे हुआ हादसा?
MP घटना दमोह जिले के एक गांव की है, जहां एक गरीब परिवार झोपड़ी में रहता था। जानकारी के अनुसार, रात के समय झोपड़ी में अचानक आग लग गई। झोपड़ी में उस समय तीन बच्चियां मौजूद थीं, जो आग में फंस गईं।
झोपड़ी में लगी आग इतनी तेज थी कि स्थानीय लोग तुरंत उन्हें बाहर निकालने में सफल नहीं हो सके। जब तक आग पर काबू पाया गया, तब तक दो बच्चियों की जान जा चुकी थी।
बचाव कार्य और अस्पताल पहुंचाने की कोशिश
MP ग्रामीणों ने तुरंत आग बुझाने की कोशिश की और झुलसी हुई बच्चियों को बाहर निकाला। इसके बाद तीनों को अस्पताल ले जाया गया।
- दो बच्चियों की मौत मौके पर ही हो गई, जबकि तीसरी बच्ची को गंभीर अवस्था में दमोह के जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया।
- डॉक्टरों के अनुसार, बच्ची की हालत बेहद नाजुक बनी हुई है, और उसे बेहतर इलाज के लिए दूसरे अस्पताल में रेफर करने की तैयारी की जा रही है।
झोपड़ी में आग लगने का कारण
प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि झोपड़ी में आग लगने का कारण एक जलती हुई दीया या चूल्हा हो सकता है। गरीब परिवार झोपड़ी में मिट्टी के दीये और लकड़ी के चूल्हे का इस्तेमाल करता था। माना जा रहा है कि चूल्हे या दीये से निकली चिंगारी ने झोपड़ी में आग लगा दी। हालांकि प्रशासन ने जांच के आदेश दे दिए हैं और घटना के सही कारण का पता लगाया जा रहा है।
प्रशासन की प्रतिक्रिया
MP घटना के बाद स्थानीय प्रशासन और पुलिस मौके पर पहुंची। अधिकारियों ने घटनास्थल का निरीक्षण किया और पीड़ित परिवार को हरसंभव सहायता देने का आश्वासन दिया।
- प्रशासन ने मृतक बच्चियों के परिवार को आर्थिक सहायता देने की घोषणा की है।
- दमोह के जिला कलेक्टर ने कहा है कि हादसे की पूरी जांच की जाएगी और भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों, इसके लिए आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।
गांव में शोक की लहर
MP इस दर्दनाक हादसे के बाद गांव में शोक की लहर है। ग्रामीणों ने बताया कि मृत बच्चियां बेहद मासूम और चंचल थीं। उनके असमय निधन से पूरा गांव स्तब्ध है।
ग्रामीणों ने प्रशासन से मांग की है कि पीड़ित परिवार की आर्थिक मदद के साथ-साथ भविष्य में इस तरह की घटनाओं से बचाव के लिए उचित कदम उठाए जाएं।
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MP दमोह की यह घटना बेहद दुखद है, जिसने कई सवाल खड़े कर दिए हैं। झोपड़ियों में रहने वाले गरीब परिवार अक्सर ऐसी घटनाओं का शिकार होते हैं। सरकार और प्रशासन को चाहिए कि इस तरह की घटनाओं से बचने के लिए जागरूकता अभियान चलाए और सुरक्षा उपायों को मजबूत करे ताकि भविष्य में इस तरह की हृदय विदारक घटनाएं न हों।