गन्ना किसानों की बकाया राशि का मामला, सुप्रीम कोर्ट ने 16 राज्यों को नोटिस जारी कर मांगा जवाब
नई दिल्ली. सुप्रीम कोर्ट में देश के गन्ना किसानों (Sugarcane Farmers) को बकाया राशि नहीं चुकाए जाने से जुड़ी याचिका पर सुनवाई हुई. बुधवार को अदालत ने इस संबंध में 16 राज्यों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है. याचिका में कहा गया है कि राज्य सरकारों की तरफ से गन्नों की खरीदी तो कर ली जाती है, लेकिन किसानों को सालों तक फसल का भुगतान नहीं किया जाता है. जिसके चलते किसानों की आर्थिक स्थिति पर असर पड़ता है. मामले पर 3 हफ्तों के बाद सुनवाई होगी.
याचिका में मांग की गई है कि शीर्ष न्यायालय को पूरे देश के लिए कार्रवाई की जानी चाहिए. वहीं, याचिकाकर्ता और पूर्व सांसद राजू शेट्टी के अनुसार, उत्तर प्रदेश सरकार के पास किसानों का 3 हजार 500 करोड़ रुपये बकाया हैं. जबकि, कर्नाटक सरकार के मामले में यह राशि 3 हजार 585 करोड़ रुपये है. शेट्टी का कहना है कि गन्ना उत्पादन वाले 16 राज्यों के पास किसानों का बकाया है. वहीं, कई मामले कोर्ट में लंबित हैं.
बीती जुलाई में इलाहबाद हाईकोर्ट में गन्ना किसानों की बकाया राशि से जुड़ी एक याचिका पर सुनवाई हुई थी. नोएडा के एक वकील ने याचिका के अनुसार 12 हजार करोड़ रुपये की बकाया राशि को चुकाने के निर्देश दिए जाने की मांग की थी. पीआईएल पर सुनवाई कर रहे कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीस मुणीश्वर नाथ भंडारी और जस्टिस पीयूष अग्रवाल ने राज्य सरकार को चार हफ्तों के अंदर जवाब दाखिल करने के लिए कहा था. इस पीआईएल पर 4 अगस्त को सुनवाई हो सकती है.पीआईएल में कहा गया था कि फिलहाल, चीनी मिलों का गन्ना किसानों पर 12 हजार करोड़ रुपये बकाया है. याचिका में कहा गया था, ‘बकाया राशि में ब्याज को जोड़ा जाए, तो आंकड़ा 15 हजार करोड़ रुपये के लगभग पहुंच सकता है.’