RSS ने BHU में प्रोफेसर फ़िरोज़ खान की नियुक्ति पर दिया समर्थन, छात्रों का प्रदर्शन ख़त्म
बनारस हिंदू विश्वविद्यालय के मुस्लिम प्रोफेसर फिरोज खान के विरोध में चल रहा प्रदर्शन आख़िरकार ख़त्म हो गया है। दरअसल शनिवार को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने फ़िरोज़ खान के संस्कृत विभाग में नियुक्ति का समर्थन किया है। संघ ने शुक्रवार को प्रोफेसर खान के बीएचयू के संस्कृत विद्या धर्म विज्ञान फैकल्टी में नियुक्ति पर चर्चा की। संघ की काशी शाखा के विभाग संघचालक जयप्रकाश लाल ने कहा कि फिरोज खान का विरोध गलत है।
संघचालक जयप्रकाश लाल ने कहा कि, “संघ का साफ विचार है कि अगर कोई व्यक्ति चयन प्रक्रिया से होकर गुजरा है और संस्कृत के प्रति समर्पित और निष्ठावान है तो उसका विरोध गलत है। यह विरोध सामाजिक सौहार्द और कानून के भी विरुद्ध है।” इसके बाद शुक्रवार शाम को छात्रों ने मुस्लिम प्रोफेसर के खिलाफ विरोध प्रदर्शन वापस ले लिया। छात्र नेता चक्रपाणि ओझा ने मीडिया से कहा, “हम प्रोफेसर खान के खिलाफ प्रदर्शन वापस ले रहे हैं; लेकिन हमारा संघर्ष तब तक चलेगा, जब तक हमारी मांगें मान नहीं ली जातीं।” ओझा ने कहा कि वे कल इस मसले पर प्रधानमंत्री को मेमोरेंडम सौपेंगे।”
हिंदू जीवनशैली अपनाने पर ही अपनाएं जायेंगे प्रोफेसर
गौरतलब है कि प्रदर्शनकारी पहले छात्रों का कहना है कि वे प्रोफेसर खान का विरोध मुस्लिम होने की वजह से नहीं, बल्कि इसलिए कर रहे हैं क्योंकि वे हिंदू रीति-रिवाजों से जीवन यापन नहीं करते। यह वेदों को पढ़ाने के लिए अहम है। उनका कहना था कि अगर प्रोफेसर फिरोज खान विभाग में शामिल होना चाहते हैं तो उन्हें वेद पढ़ाने वाली जीवनशैली अपनानी चाहिए। हम उन्हें विभाग में शामिल कर लेंगे। हालाँकि आरएसएस के समर्थन के बाद छात्रों ने विरोध प्रदर्शन बंद कर दिया है।