आज है बॉलीवुड के चहेते गायक शान का जन्मदिन, दिलचस्प है संघर्ष
अपनी शानदार आवाज़ से लाखों लोगो को अपना मुरीद बनाने वाले गायक शान सोमवार को 46 साल हैं। शान का असली नाम शांतनु मुखर्जी है। प्लेबैक गायकी में अपना लोहा मनवाने वाले शान आज जिस मुकाम पर है उसके पीछे का रहस्य उनका ज्ञान है। उनके ज्ञान की वजह से ही देशभर के संगीत जगत में शान एक बहुत बड़ी हस्ती है।
46 साल के शान देशभर के बेहतरीन गायकों में से एक माने जाते हैं। लेकिन बहुत कम लोग जानते हैं कि शान आज जिस मुकाम पर हैं, उसकी एक बड़ी वजह अलग भाषाओ में उनका ज्ञान है। दरअसल शान को 14 भाषाओं में महारथ हासिल है। शान ने अपने करियर में कोकड़ी, कन्नड़, बंगाली, पंजाबी, नेपाली, इग्लिश, हिन्दी, उड़िया, तमिल, मलयालम, तलेगू, मराठी, असमी और उर्दू जैसी भाषाओं में कई गानों को अपनी आवाज़ दी है। शान के इस टेलेंट ने शान की लोकप्रियता को सिर्फ हिन्दी गानों तक ही सीमित न रखते हुए देश के कई राज्यों में उन्हे म्यूज़िक डायरेक्टर का पसंदीदी गायक बना दिया।
परिवार का रहा है योगदान
वहीँ शान की सफलता में बहुत बड़ा योगदान शान के परिवार का भी है। 30 सितम्बर 1972 में मध्य प्रदेश के खंडवा गांव में शांतनु मुखर्जी का जन्म हुआ था। शान के दादा जाहर मुखर्जी भी गीतकार थे। उनके पिता मानस मुखर्जी संगीतकार थे। इसके साथ ही शान की माँ खुद एक अच्छी गायिका थी। शान जब 13 साल के थें तभी उनके पिता का निधन हो गया था, जिसके चलते शान को अपने जीवन में काफी संघर्ष करना पड़ा। इसी वजह से शान ने 17 साल की उम्र में ही अपने करियर की शुरुआत कर दी थी।
एक स्लिंग से की शुरुआत
1989 में रिलीज़ हुई फिल्म ‘परिंदा’ में ‘कितनी है प्यारी प्यारी दोस्ती हमारी’- एक सिंलग लाइन गाकर शान ने अपने करियर की शुरुआत की थी। लेकिन जब उन्होने आर डी बर्मन के संगीत से सजे हुए गाने ‘रुप तेरा मस्ताना’ का रिमिक्स बनाया तब शान पहली बार लाइमलाइट में आए। इस रिमिक्स के बाद शान ने लावोलोजी, भूल जा और तन्हा दिल जैसी अपनी सुपरहिट एलबम के जरिए म्यूज़िक की दुनिया में अपनी एक खास और अलग पहचान बनाई। प्यार प्यार में कभी कभी, कल हो ना हो, दिल चाहता है, हम तुम, कोई मिल गया, मुन्ना भाई MBBS, डॉन, ओम शांति ओम, जब वी मेट, 3 इडियटस, तारे ज़मीन पर, जैसी फिल्मों में अपने बेहतरीन गानों से लोगो के दिलों पर राज करने लगे।
अवार्ड्स से नवाज़े जा चुके हैं शान
शान को गोल्डन वॉइस ऑफ़ इंडिया, वॉइस ऑफ़ पैराडाइस, मैजिशियन ऑफ़ मेलोडी, वॉइस ऑफ़ यूथ जैसे कई खिताबों से नवाज़ा जा चुका है। पार्श्व गायकी की साथ ही शान एक्टिंग में भी हाथ आज़मा चुके हैं। उन्होंने अशोका और बलविंदर सिंह फेमस हो गया फिल्मों में अभिनय किया था।