Omar Abdullah : जम्मू-कश्मीर के नए मुख्यमंत्री बनने की घोषणा

Omar Abdullah ने अपना शुरुआती जीवन राजनीति से दूर रखा, लेकिन उनकी राजनीतिक विरासत उन्हें राजनीति से अलग नहीं रहने दे सकी।

जम्मू-कश्मीर की राजनीति में एक बड़ा बदलाव आया है जब नेशनल कॉन्फ्रेंस के प्रमुख फ़ारूक़ अब्दुल्ला ने अपने बेटे, उमर अब्दुल्ला को राज्य का अगला मुख्यमंत्री घोषित कर दिया। फ़ारूक़ अब्दुल्ला के इस ऐलान के साथ ही Omar Abdullah का राजनीतिक सफर एक और महत्वपूर्ण मोड़ पर आ गया है।

Omar Abdullahका जीवन और प्रारंभिक करियर

1 मार्च 1970 को जन्मे Omar Abdullah ने अपना शुरुआती जीवन राजनीति से दूर रखा, लेकिन उनकी राजनीतिक विरासत उन्हें राजनीति से अलग नहीं रहने दे सकी। वे पूर्व प्रधानमंत्री शेख अब्दुल्ला के पोते और जम्मू-कश्मीर के तीन बार मुख्यमंत्री रह चुके फ़ारूक़ अब्दुल्ला के बेटे हैं। उमर ने विदेश में अपनी पढ़ाई पूरी की और कुछ समय के लिए निजी क्षेत्र में काम किया, लेकिन 1998 में उन्होंने सक्रिय रूप से राजनीति में कदम रखा।

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राजनीतिक करियर

Omar Abdullah ने 1998 में भारतीय संसद में कदम रखा, जब वे श्रीनगर लोकसभा सीट से सांसद चुने गए। 2001 में वे अटल बिहारी वाजपेयी सरकार में विदेश राज्य मंत्री बने। हालाँकि, 2002 में हुए जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनावों में नेशनल कॉन्फ्रेंस की हार के बाद उमर को अपने राजनीतिक करियर में बड़ी चुनौती का सामना करना पड़ा।

2009 में, उन्होंने जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली और 2015 तक इस पद पर बने रहे। उनके कार्यकाल के दौरान राज्य में विकास और शांति की दिशा में कई प्रयास किए गए, लेकिन उन्हें कई राजनीतिक चुनौतियों का भी सामना करना पड़ा, जिसमें कश्मीर की जटिल स्थिति और उग्रवाद से निपटना शामिल था।

भविष्य की राह

अब, एक बार फिर से Omar Abdullah राज्य के मुख्यमंत्री बनने जा रहे हैं। फ़ारूक़ अब्दुल्ला द्वारा की गई इस घोषणा ने जम्मू-कश्मीर की राजनीति को नई दिशा दी है।

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