जबलपुर : हाथरस कांड की भाभी, पहले भी रही विवादों में, सांसद विवेक तन्खा ने किया बचाव

जबलपुर। उत्तरप्रदेश के हाथरस कांड में पीडि़त परिवार के घर रिश्तेदार बनकर पहुंची जबलपुर मेडिकल कॉलेज की फार्माकोलॉजी विभाग की डेमोस्ट्रेटर डॉ राजकुमारी बंसल पहले भी विवादों में रह चुकी है, उन पर 2015 में डिंडौरी जिला चिकित्सालय में अनुपस्थित होने एवं काम न करने पर कार्यवाही की गई थी, उनपर वरिष्ठ अधिकारियों को एससीएसटी एक्ट में फंसाने के आरोप भी लगे थे ।
वहीं विश्वस्त सूत्रों ने बताया कि डाक्टर राजकुमारी बंसल बाल्मीक की नेताजी सुभाषचंद्र बोस मेडिकल कालेज में उपस्थिति दस प्रतिशत से कम रहती है, फिर भी दो लाख रुपए वेतन, मुफ्त आवास व अन्य भत्ते उन्हे मिलते है, अधीक्षक से लेकर डीन तक राजकुमारी से डरते है, वहीं राजकुमारी ने अपनी सफाई देते हुए बताया कि कोई भी कॉलेज अस्पताल का रिकॉर्ड देख सकता है, मैं अपना काम पूरी ईमानदारी से करती हूं, मैं दुखी थी, इसलिए हाथरस गई थी, अगर हाथरस में पीडि़त के परिजन दोबारा बुलाएंगे तो फिर जाऊंगी , वहीं अब इस मामले में राजनीति भी शुरु हो गई है।
अब राजकुमारी बंसल के पक्ष में कांग्रेस नेता भी सामने आ गए है, राज्य सभा सांसद विवेक तन्खा ने कहा कि मुझे वो बहुत ही संवेदनशील महिला लगी, वो अपने एक माह का वेतन देकर आई है, वह कोई अपराधी नहीं है, यूपी सरकार द्वारा गठित एसआईटी बिना किसी अपराध के राजकुमारी को जबरन झूठी कहानी गढ़कर गिरफ्तार नहीं कर सकती है।
सांसद तन्खा ने यह भी कहा कि मध्यप्रदेश सरकार से मेरा आग्रह है कि राजकुमारी बंसल को योगी आदित्यनाथ के कहने से या खुश करने के उद्देश्य से परेशान करना गलत होगा। वहीं मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ प्रदीप कुमार कसार ने कहा कि एक सरकारी सेवक के इस तरह के आंदोलनों में शामिल होने को गंभीर माना है, उन्होंने कहा है कि डॉक्टर बंसल को नोटिस जारी कर उनसे स्पष्टीकरण मांगा गया है और शासन के नियमों के मुताबिक उन पर कार्रवाई भी की जाएगी ।