कोवैक्सिन को WHO के अप्रूवल की उम्मीद बढ़ी:विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कहा
भारत की वैक्सीन इंडस्ट्री पर भरोसा; 2 नवंबर को होगी अहम बैठक
कोवैक्सिन को WHO से अप्रूवल मिलेगा या नहीं, इसका फैसला 2 नवंबर को होने वाली टेक्निकल एडवाइजरी ग्रुप की फाइनल बैठक में हो सकता है। WHO में मेडिसिन और हेल्थ प्रोडक्ट की ADG मैरीएंजेला सिमाओ ने जेनेवा में प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि हमें भारत की वैक्सीन इंडस्ट्री पर भरोसा है।
भारत बायोटेक तेजी से और लगातार हमें डेटा प्रोवाइड करा रही है। कंपनी ने अपने डेटा की आखिरी किश्त 18 अक्टूबर को दी है। हैदराबाद की कंपनी भारत बायोटेक ने वैक्सीन को अप्रूवल के लिए 19 अप्रैल को WHO को अर्जी दी थी।
WHO की टेक्निकल एडवाइजरी कमेटी क्या है?
अलग-अलग देशों में बनने वाली वैक्सीन की कंपनी, जब इमरजेंसी अप्रूवल के लिए WHO के पास जाती है तो स्वास्थ्य संगठन टेक्निकल एडवाइजरी कमेटी गठित करती है। इस कमेटी का काम वैक्सीन के सभी चरणों के ट्रायल्स के डेटा की जांच करना और डेटा सही मिलने पर WHO को अप्रूवल देने की सिफारिश करना है। कोवैक्सिन के लिए भी WHO ने टेक्निकल कमेटी बनाई है।
फाइनल डेटा जमा करने को कहा
WHO को उम्मीद है कि कमेटी अगले सप्ताह तक अप्रूवल दे सकती है। WHO की ADG मैरीएंजेला सिमाओ ने कहा कि हमारे टेक्निकल एडवाइजरी ग्रुप ने कंपनी से फाइनल रिस्क बेनिफिट असेसमेंट का डेटा जमा करने के लिए कहा है।
चीन की 2 वैक्सीन को अप्रूवल मिलने पर उठे सवाल
कोवैक्सिन को इमरजेंसी अप्रूवल मिलने में देरी हो रही है, जबकि चीन की सिनोवैक और सिनोफॉर्म को 40 से भी कम दिनों में अप्रूवल मिल गया था। रिपोर्ट्स के मुताबिक दोनों कंपनियों से ज्यादा डेटा जमा करने के लिए नहीं कहा गया। इस पर सफाई देते हुए सिमाओ ने सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया की कोवीशील्ड का उदाहरण देते हुए कहा कि इससे पहले एक और भारतीय कंपनी ने अप्रूवल मांगा था और उसे महज 30 दिन में ही अप्रूवल मिल गया था। उन्होंने कहा कि WHO भारत बायोटेक के संपर्क में है। हम उसकी जांच जल्द पूरी कर लेंगे।
2 नवंबर को होगी बैठक
सिमाओ ने कहा कि 26 अक्टूबर को हुई टेक्निकल कमेटी की मीटिंग में भारत बायोटेक से और स्पष्टीकरण देने के लिए कहा गया था। 2 नवंबर को एडवाइजरी ग्रुप फाइनल रिस्क बेनिफिट असेसमेंट को लेकर बैठक होगी।
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