कोरोना या कोई और रहस्यमय बीमारी? देवरिया के एक गांव में एक हफ्ते में 12 लोगों की मौत, मचा हड़कंप
उत्तर प्रदेश के देवरिया जिले के एक गांव में अचानक हो रही मौतों से दहशत फैल गई है। पिछले 1 सप्ताह में इस गांव में 12 लोगों की मौत हो चुकी है। मरने वालों में 40 साल से लेकर 65 साल तक के लोग हैं। मृतकों में से किसी की भी कोरोना जांच नहीं हुई थी। शुक्रवार को स्वास्थ्य विभाग की टीम गांव में पहुंची और 58 लोगों की एंटीजन जांच की, लेकिन किसी की भी रिपोर्ट कोरोना पाजीटिव नहीं आई है। जिसके चलते लोगों में कोरोना के अलावा किसी अन्य बीमारी का भी डर समा गया है। ग्रामीणों की मानें तो सभी मौतें अचानक खांसी और बुखार होने की वजह से हुई हैं।
खांसी के साथ तेज बुखार, फिर सांस लेने में दिक्कत और दो दिन में हो जा रही है मौत
जिला मुख्यालय से लगभग 40 किलोमीटर दूर राप्ती और गोरा नदी के दोआब क्षेत्र में बैदा गांव स्थित है। इस गांव में 1 मई से लेकर 6 मई के बीच में 12 मौतें हुईं। जिसमें सर्वाधिक 2 मई को 4 और 6 मई को 5 लोगों की मौत हो गई। ग्रामीणों की मानें तो सभी मृतकों को पहले खांसी हुई फिर तेज बुखार आया और सांस लेने में दिक्कत आने लगी। फिर 2 दिन के अंदर में ही सभी की मौत हो गई। मृतकों में से किसी की भी कोरोना जांच तो नहीं हुई थी मगर शुरुआती लक्षण देखते हुए आशंका जताई जा रही है सभी मौतें कोरोना के चलते ही हुई हैं।
गांव में दहशत, मौत की वजह कोरोना या कुछ और?
एक सप्ताह के अंदर एक ही गांव में 12 लोगों की मौत होने से पूरे गांव में दहशत फैल गई है। गांव में पूरी तरह सन्नाटा पसरा है और लोग आपस में ही एक दूसरे को देखकर दूर भाग रहे हैं। खास बात यह है कि मृतकों में से किसी को भी पहले से कोई गंभीर बीमारी नहीं थी। मगर खांसी के साथ तेज बुखार और फिर सांस लेने की दिक्कत के चलते हो रही मौतों से आशंका जताई जा रही है कि सभी मौतें कोरोना से हो रही है।
स्वास्थ्य विभाग के एंटीजन टेस्ट में गांव में नहीं मिला कोरोना पॉजिटिव
मौत की खबर पाकर शुक्रवार को स्वास्थ विभाग की टीम गांव में पहुंची और मृतकों के परिजनों समेत 58 लोगों का एंटीजन टेस्ट किया, मगर किसी की भी कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव नहीं मिली है। ऐसे में स्वास्थ्य विभाग के लोग मौत की वजह जानने में जुटे हुए हैं। ग्रामीणों में अब कोरोना के साथ-साथ किसी अन्य बीमारी के फैलने का डर पैदा हो गया है। रुद्रपुर के चिकित्सा अधिकारी डॉ सुशील मल्ल ने बताया कि हमने गांव जाकर 58 लोगों का एंटीजन टेस्ट किया, मगर किसी की भी रिपोर्ट पॉजीटिव नहीं मिली है। मौत के कारणों की जांच की जा रही है।