हरीश रावत को CM चेहरा घोषित कर सकती है कांग्रेस, शीर्ष नेतृत्व की बैठक आज
नई दिल्ली. कांग्रेस (Congress) के काम करने के तरीके पर नाराजगी जाहिर कर चुके उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत (Harish Rawat) को मनाने की कोशिशें जारी हैं. खबर है कि पार्टी ने इस संबंध में शुक्रवार को एक बैठक बुलाई है. कहा जा रहा है कि इस मीटिंग के बाद रावत को उत्तराखंड का सीएम चेहरा घोषित किया जा सकता है. गुरुवार को भी पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने रावत से मुलाकात की थी.
टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के अनुसार, सूत्रों ने बताया कि रावत को उत्तराखंड का सीएम चेहरा घोषित किया जाएगा या उन्हें चुनाव प्रचार को लेकर ज्यादा शक्तियां दी जा सकती हैं. सूत्रों ने यह भी बताया कि कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने भी गुरुवार को रावत से चर्चा की थी. पार्टी के कई नेता रावत के समर्थन में हैं और उन्हें मुख्यमंत्री चेहरा बनाने के लिए दबाव डाल रहे हैं.
हरीश रावत का समर्थन करने वालों में राज्यसभा सांसद प्रदीप तामता समेत कई विधायक हैं. पूर्व सीएम के समर्थकों ने पोस्ट करना शुरू कर दिया है, ‘जहां हरदा, वहां हम.’ रिपोर्ट के अनुसार, यह दिखाता है कि अगर स्थिति तैयार होती है, तो उनके समर्थक पार्टी से अलग होने के लिए भी तैयार हैं. भाषा के अनुसार, रावत ने बुधवार को पार्टी संगठन पर असहयोग का आरोप लगाते हुए कहा कि उनका मन सब कुछ छोड़ने को कर रहा है.
उत्तराखंड कांग्रेस के प्रदेश प्रमुख गणेश गोडियाल ने मीटिंग को लेकर अखबार से बातचीत में कहा, ‘प्रदेश इकाई में कुछ मुद्दे हैं, जो हरीश रावत को परेशान कर रहे हैं.’ उन्होंने कहा, ‘हम शुक्रवार को होने वाली बैठक में सकरात्मक परिणाम लेकर आएंगे.’ उन्होंने यह भी कहा कि वे रावत को पार्टी का सीएम बनाने के लिए दबाव डालेंगे.
क्या कहा था हरीश रावत ने
उत्तराखंड के पूर्व सीएम रावत ने बुधवार को ट्वीट किया था, ‘है न अजीब सी बात, चुनाव रूपी समुद्र को तैरना है, सहयोग के लिए संगठन का ढांचा अधिकांश स्थानों पर सहयोग का हाथ आगे बढ़ाने के बजाय या तो मुंह फेर करके खड़ा हो जा रहा है या नकारात्मक भूमिका निभा रहा है. जिस समुद्र में तैरना है,’ अन्य ट्वीट में उन्होंने लिखा, ‘सत्ता ने वहां कई मगरमच्छ छोड़ रखे हैं. जिनके आदेश पर तैरना है, उनके नुमाइंदे मेरे हाथ-पांव बांध रहे हैं. मन में बहुत बार विचार आ रहा है कि हरीश रावत अब बहुत हो गया, बहुत तैर लिये, अब विश्राम का समय है!’