बीएसई के एमकैप में रिकॉर्ड बढ़त, 160.68 ट्रिलियन रुपये के शिखर पर

मुम्बई। बीएसई में सूचीबद्ध कंपनियों के कुल बाजार पूंजीकरण ने शुक्रवार को रिलायंस इंडस्ट्रीज (आरआईएल), सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) और फार्मास्युटिकल शेयरों के नेतृत्व में 160.68 ट्रिलियन रुपये का नए उच्च स्तर को छू लिया है।

बीएसई-सूचीबद्ध फर्मों की निवेशक संपत्ति, बाजार पूंजीकरण (एम-कैप) द्वारा मापा जाता है। 17 जनवरी, 2020 को बीएसई के आंकड़ों से पता चलता है कि पिछले रिकॉर्ड उच्च स्तर 160.57 खरब रुपये था। बीएसई में सूचीबद्ध रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड जो अपने रिकॉर्ड उच्च स्तर के करीब कारोबार कर रही है। 17 जनवरी के बाद से आरआईएल ने बीएसई में 4.67 ट्रिलियन रुपये जोड़े है। शीर्ष चार आईटी कंपनियों-टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (2.25 ट्रिलियन रुपये), इंफोसिस (1.42 ट्रिलियन रुपये), एचसीएल टेक्नोलॉजीज (70,243 करोड़ रुपये), और विप्रो (69,969 करोड़ रुपये) ने सामूहिक रूप से इस अवधि के दौरान 5.08 ट्रिलियन एम-कैप वृद्धि की है।

फार्मा कंपनियों की बात की जाए तो डॉ. रेड्डी, सिप्ला, अरबिंदो फार्मा और बायोकॉन सहित दस फार्मास्युटिकल कंपनियों ने सामूहिक रूप से 2 ट्रिलियन एमकैप का योगदान बीएसई में किया है, जबकि अदानी ग्रीन एनर्जी, हिंदुस्तान यूनिलीवर, एशियन पेंट्स और टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स उल्लेखनीय कंपनियों में शामिल हैं। 17 जनवरी के बाद से 1.75 ट्रिलियन रुपये का योगदान किया हे।

हाल ही में सूचीबद्ध छह कंपनियां जिनमें एसबीआई कार्ड और भुगतान सेवा, कंप्यूटर आयु प्रबंधन सेवाएं (सीएएमएस) और हैप्पीस्ट माइंड टेक्नोलॉजीज ने कुल 1.01 ट्रिलियन रुपये जोड़े हैं, जिससे बीएसई का एमकैप आज नए स्तर पर पहुंच गया।

शेयर बाजार के विश्लेषकों का मानना ​​है कि बाजार कोविड-19 महामारी से उत्पन्न नुकसान को पूरी तरह ठीक कर सकता है। 23 मार्च को नीचे जाने के बाद बाजारों ने पिछले छह महीनों में तेज सुधार किया है। इस अवधि में निफ्टी में लगभग 50 फीसदी की वृद्धि हुई है, जबकि मिडकैप और स्मॉल-कैप सूचकांकों में भी क्रमशः 55 फीसदी और 75 फीसदी की बढ़त के साथ बेहतर प्रदर्शन किया है।

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