‘भगवान की रसोई’ में बीफ, पोर्क और फिश ऑयल का विवाद; तिरुपति लड्डू मामले में अब तक की घटनाएँ

इस मुद्दे ने राजनीतिक रूप से भी तूल पकड़ा है। वाईएसआर कांग्रेस पार्टी ने इस पूरे मामले को लेकर हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है.

तिरुपति मंदिर के प्रसादम लड्डू को लेकर विवाद गहरा गया है। आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडु की पार्टी, तेलुगु देशम पार्टी (TDP), ने आरोप लगाया है कि पिछली सरकार के कार्यकाल में लड्डू में जानवरों की चर्बी वाला घी और फिश ऑयल मिलाया जाता था। यह दावा पार्टी ने एक लैब रिपोर्ट के आधार पर किया है, जो कि इस विवाद को और भी गंभीर बना रहा है।

इस मुद्दे ने राजनीतिक रूप से भी तूल पकड़ा है। वाईएसआर कांग्रेस पार्टी ने इस पूरे मामले को लेकर हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है और मांग की है कि नायडू के आरोपों की स्वतंत्र जांच के लिए एक कमेटी का गठन किया जाए। पार्टी का कहना है कि इस प्रकार के आरोपों से तिरुपति मंदिर की पवित्रता को खतरा पहुंच सकता है।

इस विवाद पर हाईकोर्ट में 25 सितंबर को सुनवाई होगी, जो इस मामले में आगे की कार्रवाई तय करेगी। तिरुपति मंदिर का लड्डू प्रसादम न केवल आंध्र प्रदेश में बल्कि पूरे देश में प्रसिद्ध है, और ऐसे आरोपों से उसकी छवि पर असर पड़ सकता है।

इस घटनाक्रम ने धार्मिक भावनाओं को भी प्रभावित किया है, और मंदिर प्रशासन को इस मुद्दे को गंभीरता से लेने की आवश्यकता है। यदि जांच में आरोप सही साबित होते हैं, तो इससे मंदिर की पवित्रता पर गंभीर प्रश्न उठेंगे। राजनीतिक दलों के बीच यह विवाद अब समाज में भी चर्चा का विषय बन चुका है, जिससे सभी पक्षों को सच और न्याय की आवश्यकता महसूस हो रही है।

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