मुस्लिम पिता ने हिंदू बेटे के सिर पर बाधा सेहरा
समाज मे संकुचित विचार रखने वालों के बीच तमाम ऐसे नेक दिल लोग हैं।जिनके काम मिसाल बन जाते हैं।ऐसे लोगों के काम की तारीफ के लिए शब्द भी कम पड़ जाते हैं।बात हो रही है ग़ाज़ीपुर की सेवराई तहसील के बारा गांव में रहने वाले शेर खाँ की।उन्होंने 16 वर्ष पहले गोद लिए बच्चे को पहले अच्छी परवरिश दी,और अब पूरे हिन्दू रीति रिवाज के साथ उसकी शादी करायी।यह विवाह उन लोगों के लिए आईना है जो साम्प्रदायिक सदभाव को बिगाड़ने का कोई भी मौका छोड़ना नही चाहते।पेश है।
वीओ-ग़ाज़ीपुर के बारा गांव के रहने वाले पप्पू के बचपन मे ही उनके माता पिता का निधन हो गया।उनकी देखभाल करने वाला कोई नही था।ऐसे में मोहम्मद शेर खाँ ने पप्पू को गोद लेकर परवरिश की।शेर खां के इस काम मे उनके परिवार वालों ने भी पूरा सहयोग किया।इस मुस्लिम परिवार ने पालन पोषण,अच्छी परवरिश के साथ पप्पू को शिक्षा भी दिलाई।जब पप्पू की शादी की उम्र हुई तो शेर खां ने उसकी मर्जी से उसका विवाह पूरे हिन्दू रीति रिवाज से कराया।शेर खां ने अपने हिन्दू बेटे पप्पू की शादी अतरौली गांव के भगवान राम की बेटी काश्मीरा से कराई है,और पिता बनकर हिन्दू रीति रिवाज से सभी रस्मे निभाई।अब तक पप्पू शेर खां के साथ ही उनके मकान में रहता था।लेकिन अब शेर खां ने पप्पू के लिए एक अलग कमरा बनवा दिया है।जहां पप्पू अपनी पत्नी के साथ रहेगा।शेर खां पप्पू को अपने बेटों की तरह मानते हैं।उन्होंने कभी भी धर्म को जिंदगी के आड़े नही आने दिया।बचपन से लेकर आज तक मुस्लिम परिवार में रहने वाले पप्पू को अपना धर्म मानने की पूरी आजादी रही।घर मे पप्पू के लिए सभी हिन्दू त्योहार भी पूरा परिवार मनाता रहा है।पप्पू भी शेर खां को अपना पिता और उनके चार बेटों को अपना बड़ा भाई मानता है।ग़ाज़ीपुर की ये खबर समाज को इंसानियत का आईना दिख रही है।