भाजपा नेता ने कलेक्टर की डिग्री पर लगाया गंभीर आरोप, मचा हड़कंप।
बीजेपी नेता सौरभ सिंह ने आईएएस अधिकारी आलोक शुक्ला पर लगाए गंभीर आरोप!
छत्तीसगढ़ :हमारे देश में अक्सर राज्य या केंद्र में सत्ताधारी सरकारें अनेक घोषणाएं, लोक लुभावन योजनाएं, भविष्य में न जाने कब पूरी होने वाली परियोजनाओं के शिलान्यास, आसमान के तारे तोड़ कर जनता के हाथ में रख देने वाले वायदे तथा और भी न जाने क्या-क्या करती और रखती रहती हैं। कुछ तो वास्तव में कल्याणकारी होती हैं।
हमारा मतलब उस तबके से है जिसे नौकरशाही, ब्यूरोक्रेसी या फिर सीधे-सीधे अफसरी कहा जाता है और यह तंत्र इतना व्यापक और जलेबी की तरह उलझा है कि इसकी गुत्थी सुलझाने में साधारण नागरिक की तो छोडि़ए, मंत्री, मुख्यमंत्री या प्रधानमंत्री तक को नाकों चने चबाने पड़ जाते हैं। और ऐसी ही ब्यूरोक्रेसी में छत्तीसगढ़ के भाजपा नेता ने एक आईएएस अधिकारी पर गंभीर आरोप लगा दिया है।भाजपा विधायक व प्रवक्ता सौरभ सिंह ने आईएएस अधिकारी आलोक शुक्ला की एलएलबी की परीक्षा पास करने पर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने ट्वीट किया कि प्रमुख सचिव शुक्ला का नाम किलोल नामक पत्रिका की खरीद में भी आया था।
स्कूल शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव डॉ आलोक शुक्ला ने सोशल मीडिया पर अपनी एलएलबी की मार्कशीट साझा करते हुए बताया था कि उन्होंने एलएलबी की अंतिम सेमेस्टर की परीक्षा प्रथम श्रेणी में उत्तीर्ण की है। कई लोगों ने उन्हें बधाई भी दी।इस पर भाजपा विधायक सौरभ सिंह ने सवाल खड़े किए हैं। सौरभ सिंह ने ट्वीट किया कि भूपेश सरकार के आईएएस आलोक शुक्ला जो स्कूल शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव हैं।
उन्होंने पता नहीं किस चमत्कारी व्यवस्था से रेगुलर पढ़ाई करके एलएलबी की परीक्षा पास कर ली।मेरी जानकारी में जिस छत्तीसगढ़ कॉलेज के वो छात्र रहे वहां सरकारी समय अर्थात सुबह 10 से साढ़ेे 5.30 तक पढ़ाई होती है। फिर कौन सा जुगाड़ करके 75 फीसदी अटेंडेस लगवाकर उसी समय में नौकरी भी कर ली और पढ़ाई भी? उन्होंने यह भी ट्वीट किया कि वैसे यही अधिकारी का नाम आलोक शुक्ला किलोल नामक पत्रिका की खरीदी में भी आया था।
नोट-कृपया कानून के जानकार मेरी जानकारी को दुरूस्त करने का कष्ट करें। सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी आलोक शुक्ला को तीन साल के लिए अनुबंध के आधार पर प्रमुख सचिव नियुक्त करने के छत्तीसगढ़ सरकार के आदेश के बाद , विपक्ष ने चिंताएं बढ़ा दी थी।क्योंकि पूर्व शीर्ष नौकरशाह का नाम 2015 में करोड़ों रुपये के पीडीएस घोटाले में नामित किया गया था । शुक्ला, जो 30 मई को सेवानिवृत्त हुए थे। स्कूल शिक्षा विभाग के अतिरिक्त प्रभार के साथ विधायी मामलों के प्रभार के साथ तीन साल के लिए प्रमुख सचिव नियुक्त किया गया है।
नई क्षमता में शुक्ला कौशल विकास, तकनीकी शिक्षा और रोजगार और स्कूल शिक्षा बोर्ड और व्यावसायिक परीक्षा बोर्ड के अध्यक्ष सहित अपने सभी पिछले विभागों को बरकरार रखेंगे।