कोयला संकट पर PMO में आज बड़ी बैठक, दुर्गा पूजा के लिए दिल्ली और असम में हुई खास व्यवस्था
नई दिल्ली. भारत में कोयला संकट (Coal Crisis in India) को लेकर मंगलवार को बड़ी बैठक होने जा रही है. कोयला और ऊर्जा सचिव आज प्रधानमंत्री कार्यालय में मौजूदा हालात और उससे निपटने को लेकर किए गए उपायों की जानकारी देंगे. बिजली संयत्रों में कोयले की कमी के चलते विभिन्न राज्यों में बिजली गुल (Blackout Concerns over Coal Shortage) होने की खबरों के केंद्र सरकार अलर्ट मोड पर है. सोमवार को भी केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने एक उच्च स्तरीय बैठक की थी.
प्राप्त जानकारी के मुताबिक, PMO में ऊर्जा और कोयला मंत्रालयों के सचिव आज मौजूदा स्थिति की जानकारी देंगे. पंजाब, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र और कर्नाटक बिगड़ते हालात को लेकर पहले ही चिंता जाहिर कर चुके हैं. हालांकि, केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह ने भरोसा दिया था कि यह ‘अनावश्यक डर’ पैदा किया जा रहा है कि और DISCOMs को कार्रवाई की चेतावनी दी थी.
केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय ने संबंधित पावर पर्चेज एग्रीमेंट्स के तहत नेशनल थर्मल पावर कॉर्पोरेशन और दामोदर वैली कॉर्पोरेशन को दिल्ली DISCOMs को ज्यादा से ज्यादा बिजली पहुंचाने के निर्देश दिए हैं. इधर, असम में ऊर्जा मंत्री बिमल अरोरा ने कहा है कि दुर्गा पूजा के दौरान बिजली की कोई कमी नहीं होगी. उन्होंने कहा, ‘असम ने ओपन एक्सचेंज से ऊंची कीमतों पर ऊर्जा खरीद की है. हमने 13-14 करोड़ रुपये ज्यादा खर्च किए हैं.’
इससे पहले गृहमंत्री शाह ने सोमवार को उच्च स्तरीय बैठक बुलाई थी. इस मीटिंग में आरके सिंह, केंद्रीय कोयला मंत्री प्रह्लाद जोशी समेत NTPC के कई अधिकारी मौजूद थे. यह बैठक दिल्ली स्थित गृह मंत्रालय के दफ्तर में आयोजित हुई थी. सिंह के कहा था कि कोयला की कमी नहीं है. इसके बाद कोयला मंत्रालय ने भी यह साफ किया था कि पावर प्लांट्स की मांग को पूरा करने के लिए कोयला पर्याप्त मात्रा में मौजूद है.
सिंह ने GAIL और टाटा पावर को ‘गैर-जिम्मेदाराना’ व्यवहार के लिए फटकार लगाई थी. साथ ही उन्होंने यह भरोसा दिया था कि देश के पास 4-5 दिन का रिजर्व मौजूद है. उन्होंने कहा, ‘हमारे कोयला का स्टॉक बना हुआ है. यहां चिंता की बात नहीं है. लोगों को यह पता होना चाहिए कि हम हालात की लगातार निगरानी कर रहे हैं… यह स्थिति बढ़ती मांग के कारण पैदा हुई है. मांग ज्यादा है, इसका मतलब है कि आर्थिक वृद्धि हो रही है.’