19 साल पुराना मर्डर केस हुआ सुलझा, AI की मदद से सेना के दो जवान बने संदिग्ध
AI यह मामला एक बिनब्याही मां और उसके जुड़वा बच्चों की हत्या का था, जो 19 साल पहले हुआ था। उस वक्त इस जघन्य घटना से इलाके में सनसनी फैल गई थी,
AI ; लंबे समय से अनसुलझा पड़ा एक जघन्य मर्डर केस आखिरकार 19 साल बाद क्रैक हो गया। AI यह मामला एक बिनब्याही मां और उसके जुड़वा बच्चों की हत्या का था, जो 19 साल पहले हुआ था। उस वक्त इस जघन्य घटना से इलाके में सनसनी फैल गई थी, लेकिन सबूतों की कमी और अपराधियों के चालाकी से सुराग मिटाने के कारण पुलिस को इस मामले में काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ा। हालांकि, अब आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) की मदद से पुलिस ने मामले को सुलझाने में बड़ी सफलता हासिल की।
घटना का विवरण
यह दर्दनाक घटना 2005 में एक छोटे से कस्बे में घटी थी। पीड़िता, एक बिनब्याही मां थी, जिसकी उम्र लगभग 30 वर्ष थी। उसके जुड़वा बच्चों की उम्र मात्र 5 वर्ष थी। एक रात अचानक से उनकी हत्या कर दी गई। पड़ोसियों ने सुबह घर का दरवाजा खुला देखा और अंदर जाने पर तीनों की लाशें पड़ी मिलीं। पुलिस ने जांच शुरू की, लेकिन मामले में कोई ठोस सबूत नहीं मिल पाया।
शुरुआत में कुछ संदिग्धों को हिरासत में लिया गया, लेकिन जांच में कोई सफलता नहीं मिली। मामले में समय के साथ सबूत भी खत्म हो गए, और यह केस ठंडे बस्ते में चला गया।
AI ने कैसे की मदद?
19 साल बाद जब पुलिस ने इस केस को दोबारा खोलने का फैसला किया, तब उन्होंने आधुनिक तकनीक का सहारा लिया। पुलिस ने पुराने सबूतों और केस फाइल्स को फिर से खंगाला। DNA सैंपल्स को नई तकनीकों के जरिए फिर से जांचा गया। इसी दौरान पुलिस ने AI आधारित एक क्राइम सॉल्विंग सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल किया।
AI ने पुराने संदिग्धों के बयान, घटनास्थल की तस्वीरें और DNA रिपोर्ट्स का गहराई से विश्लेषण किया। इसके बाद जो जानकारी सामने आई, उसने सबको हैरान कर दिया। AI ने दो संदिग्धों की पहचान की, जो उस वक्त सेना में जवान थे।
जवानों पर क्यों हुआ शक?
जांच में यह सामने आया कि घटना के समय ये दोनों संदिग्ध जवान उस कस्बे में छुट्टी पर आए हुए थे। पीड़िता और एक संदिग्ध के बीच पहले से जान-पहचान थी। हत्या की रात संदिग्धों को उस इलाके में घूमते हुए देखा गया था। हालांकि, पहले इनके खिलाफ कोई पुख्ता सबूत नहीं था। लेकिन DNA की नई रिपोर्ट और AI के विश्लेषण ने इन पर शक को मजबूत कर दिया।
पुलिस का बयान
पुलिस का कहना है कि यह मामला काफी चुनौतीपूर्ण था क्योंकि समय बीतने के साथ सबूत नष्ट हो चुके थे। लेकिन AI के सहयोग से अब उन्हें ठोस सबूत मिले हैं। दोनों संदिग्धों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है, और जल्द ही मामले की पूरी सच्चाई सामने आ सकती है।
AI बना पुलिस का नया हथियार
यह केस एक मिसाल बन गया है कि कैसे AI तकनीक पुराने और ठंडे मामलों को भी सुलझाने में कारगर हो सकती है। पुलिस विभाग ने यह भी संकेत दिया है कि भविष्य में वे अन्य पुराने अनसुलझे केसों को भी AI की मदद से सुलझाने की कोशिश करेंगे।
अमेरिकी राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार Jake Sullivan ने दिल्ली में Jaishankar से मुलाकात
यह घटना यह दिखाती है कि समय चाहे कितना भी बीत जाए, इंसाफ का रास्ता हमेशा खुला रहता है। आधुनिक तकनीक ने इस पुराने केस में नई जान फूंकी और पीड़ित परिवार को न्याय मिलने की उम्मीद जगी है। सेना के दोनों जवानों से पूछताछ जारी है और पुलिस का मानना है कि जल्द ही मामले की गुत्थी पूरी तरह सुलझ जाएगी।